एआई में दक्ष सबसे बड़ी स्कूली छात्र आबादी के साथ विश्व का नेतृत्व करना है भारत का लक्ष्य : श्री जयन्त चौधरी

“आने वाले छह महीनों में भारत की स्कूल जाने वाली युवा पीढ़ी एक वैश्विक संदेश देने को तैयार है कि हम दुनिया के सबसे बड़े ऐसे नेटवर्क का हिस्सा हैं जहाँ न सिर्फ आर्टिफिशियल इंटेलिजेंस (एआई) की जानकारी दी जा रही है, बल्कि हमारे छात्र उसे सक्रिय रूप से इस्तेमाल और लागू भी कर रहे हैं। हम ऐसा भविष्य गढ़ रहे हैं जो साहसी है, तकनीक में दक्ष है और नेतृत्व के लिए पूरी तरह तैयार है।” यह बात भारत सरकार के कौशल विकास और उद्यमशीलता मंत्रालय के राज्य मंत्री (स्वतंत्र प्रभार) एवं शिक्षा राज्य मंत्री श्री जयन्त चौधरी,  ने कही। वे इंडिया स्किल मिशन की 10वीं वर्षगांठ के अवसर पर आयोजित भारत स्किलनेक्स्ट 2025 कार्यक्रम में भारत मंडपम, नई दिल्ली में बोल रहे थे। इस विशेष आयोजन में मिशन की उपलब्धियों को रेखांकित किया गया और भारत के स्किलिंग ईकोसिस्टम के लिए एक भविष्यवादी रोडमैप प्रस्तुत किया गया।  श्री जयन्त चौधरी ने आगे कहा कि “स्किल इंडिया की यात्रा ने हमें यह सिखाया है कि कौशल केवल एक विकल्प नहीं, बल्कि देश की प्रगति की बुनियाद है। चाहे वह सेना से सेवानिवृत्त हुए जवानों का पुनः प्रशिक्षण हो, ग्रामीण महिलाओं का उद्यमिता की ओर कदम बढ़ाना हो या स्कूली छात्रों का आर्टिफिशियल इंटेलिजेंस (एआई) को अपनाना हो। हर कहानी यह प्रमाणित करती है कि भारत का भविष्य प्रतिभा की पहचान, कार्य को गरिमा देने और कौशल के माध्यम से अवसर सृजित करने में निहित है। SOAR जैसी पहलें, जो स्कूल स्तर से ही एआई को शिक्षा का हिस्सा बना रही हैं, यह दिखाती हैं कि भारत तकनीक को केवल अपनाना नहीं चाहता, बल्कि उसमें अग्रणी बनना चाहता है। जब हम ‘विकसित भारत 2047’ की ओर बढ़ रहे हैं, तो यह स्पष्ट है कि भारत एक विकसित राष्ट्र संयोग से नहीं, बल्कि सुनियोजित प्रयासों से बनेगा और इन प्रयासों के केंद्र में हमारे  कुशल, आत्मविश्वासी और भविष्य के लिए तैयार लोग होंगे।”

इस अवसर पर भारत के स्किलिंग परिदृश्य को भविष्य के लिए तैयार करने वाली कई महत्त्वपूर्ण पहलों का शुभारंभ किया गया। इनमें प्रमुख रूप से इंडिया स्किल्स 2025–2026 के ऑपरेशनल गाइडलाइन्स और रजिस्ट्रेशन पोर्टल, SOAR (स्किलिंग फॉर एआई रेडीनेस), एनसीवीईटी का कौशलवर्स डिजिटल एंटरप्राइज़ पोर्टल, मूल्यांकन एजेंसियों और पुरस्कार निकायों के लिए दिशा-निर्देश, तथा नवीन अप्रेंटिसशिप प्रशिक्षण पोर्टल शामिल हैं। इसके साथ ही, इस मंच से कई महत्त्वपूर्ण रिपोर्ट्स और पुस्तिकाएं भी जारी की गईं, जिनमें इंडिया सेमिकंडक्टर वर्कफोर्स स्ट्रेटेजी रिपोर्ट, स्किल इम्पैक्ट बॉन्ड रिपोर्ट, डिसेंट्रलाइज़्ड प्लानिंग पर आधारित पुस्तक, तथा जन शिक्षण संस्थान की एम्प्लॉयबिलिटी स्किल्स ट्रेनर हैंडबुक प्रमुख हैं। 

माननीय राज्य मंत्री, वाणिज्य एवं उद्योग मंत्रालय तथा इलेक्ट्रॉनिक्स एवं सूचना प्रौद्योगिकी मंत्रालय श्री जितिन प्रसाद ने कहा कि “जैसे-जैसे हम ‘स्किल इंडिया मिशन’ की 10वीं वर्षगांठ मना रहे हैं, यह स्पष्ट है कि कौशल विकास केवल एक प्राथमिकता नहीं, बल्कि भारत के परिवर्तन की चाबी है। माननीय प्रधानमंत्री श्री नरेंद्र मोदी जी के दूरदर्शी नेतृत्व में, हम यह देख रहे हैं कि देश में युवाओं को तैयार करने का तरीका एक पीढ़ीगत बदलाव से गुजर रहा है जिससे हमारे युवा न केवल भारत में, बल्कि वैश्विक स्तर पर भी प्रतिस्पर्धा करने, योगदान देने और नेतृत्व करने के लिए सक्षम हो रहे हैं। स्कूल स्तर पर ‘SOAR’ जैसे कार्यक्रमों के माध्यम से एआई शिक्षा को शामिल करने से लेकर, युवाओं को नौकरी के लिए तैयार करने या उन्हें उद्यमिता के लिए सशक्त बनाने तक, हम ऐसे कौशलों में निवेश कर रहे हैं जो जीवन बदलते हैं। आज का कौशल विकास ग्लोबल मोबिलिटी, साइबर सिक्योरिटी, क्लाइमेट रेज़िलियन्स और डिजिटल प्रोडक्टिविटी के लिए तत्परता से जुड़ा हुआ है”।

By Business Bureau