भारत की सबसे बड़ी निजी क्षेत्र की नॉन-बैंकिंग वित्तीय संस्था और बजाज फिनसर्व समूह का हिस्सा, बजाज फाइनेंस लिमिटेड ने कहा कि इस फेस्टिव सीजन में उपभोक्ता कर्ज की मांग में तेज वृद्धि दर्ज की गई है। कंपनी ने पिछले वर्ष की तुलना में 27% अधिक संख्या में और 29% अधिक मूल्य के उपभोक्ता कर्ज वितरित किए हैं।
उपभोक्ता वस्तुओं के लिए लिए गए इन कर्ज में बढ़ोतरी सरकार के अगली पीढ़ी के जीएसटी सुधारों और व्यक्तिगत आयकर दरों में किए गए बदलावों का सकारात्मक परिणाम है, जिनका उद्देश्य उपभोक्ताओं की क्रय शक्ति बढ़ाना रहा है।
बजाज फाइनेंस ने 22 सितंबर से 26 अक्टूबर 2025 के बीच लगभग 63 लाख कर्ज वितरित किए। इस अवधि में कंपनी ने 23 लाख नए ग्राहक जोड़े, जिनमें से 52% न्यू-टू-क्रेडिट (पहली बार कर्ज लेने वाले) थे, जिससे वित्तीय समावेशन को व्यापकता मिली।
बजाज फाइनेंस के चेयरमैन संजीव बजाज ने कहा, “सरकार के नेक्स्ट जनरेशन जीएसटी सुधारों और आयकर की दरों में बदलावों ने भारत की उपभोग-आधारित विकास कहानी को नई ऊर्जा दी है। इन कदमों से रोजमर्रा की वस्तुएं अधिक सुलभ हुई हैं, जिससे लाखों मध्यम और निम्न आय वर्गीय परिवार आत्मविश्वास के साथ त्योहारी खरीदारी कर सके हैं। यह असर केवल 27% अधिक उपभोक्ता कर्ज वितरण में ही नहीं दिखा, बल्कि उपभोक्ताओं के बेहतर जीवनशैली के लिए उच्च गुणवत्ता वाले उत्पादों की ओर झुकाव में भी देखा गया।”
