मंत्रालय ने कहा है कि कोरोना के 60 फीसदी एक्टिव केस और कोरोना संक्रमण के चलते हो रही मौजूदा मौतों में से 45.4 फीसदी मौतें महाराष्‍ट्र से है.

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केंद्रीय स्‍वास्‍थ्‍य मंत्रालय ने महाराष्‍ट्र में कोरोना के नए मामलों की संख्‍या लगातार बढ़ने पर चिंता जताई है. स्‍वास्‍थ्‍य मंत्रालय ने कहा है कि 60 फीसदी से ज्यादा कोरोना के एक्टिव मामले अकेले महाराष्ट्र में है.मंत्रालय ने कहा है कि कोरोना के 60 फीसदी एक्टिव केस और कोरोना संक्रमण के चलते हो रही मौजूदा मौतों में से 45.4 फीसदी मौतें महाराष्‍ट्र से है. गौरतलब है कि प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने कोरोना संक्रमण की दूसरी लहर को निष्क्रिय करने पर जोर दिया है. पिछले 24 घंटों में आए कोरोना के नए केसों में से 17,864 यानी 61.8 फीसदी अकेले महाराष्‍ट्र राज्‍य से हैं. इसके बाद केरल का स्‍थान है जहां 1970 केस दर्ज किए गए हैं, पंजाब में 1463 केस रिकॉर्ड किए गए हैं. 

एक अधिकारी के अनुसार, 1 मार्च तक महाराष्‍ट्र में पॉजिटिविटी रेट 10 फीसदी के आसपास था जो कि अब बढ़कर 16 फीसदी तक पहुंच गया है. स्‍वास्‍थ्‍य मंत्रालय ने मीडिया ब्रीफिंग में कहा कि राज्‍य में नए केसों की संख्‍या बढ़ रही है लेकिन कोरोना टेस्‍ट की संख्‍या नहीं बढ़ रही. हमने राज्‍य सरकार से इस बारे में ध्‍यान देने को कहा है.स्‍वास्‍थ्‍य सचिव राजेश भूषण ने इस अवसर पर कहा कि मध्यप्रदेश में पॉजिटिविटी रेट 3.1 से 7.4 फीसदी हो गयी है. इसी तरह राजस्थान में भी 15 दिन में केस डबल हो गए हैं. उन्‍होंने कहा कि राजस्थान में कोरोना को लेकर टेस्ट बढाने की जरूरत है.

दिल्‍ली को लेकर स्‍वास्‍थ्‍य सचिव ने कहा कि दिल्ली में 371 केस है औसतन, यहां आरटीपीसीआर टेस्ट बढाने की जरूरत है. एक अन्‍य सवाल पर उन्‍होंने कहा कि तेलंगाना,आंध्र प्रदेश, उत्तर प्रदेश, कर्नाटक और जम्मू एंड कश्मीर सबसे ज्यादा कोरोना की वैक्सीन का Wastage कर रहे हैं. पश्चिम बंगाल में वैक्‍सीन को लेकर ममता बनजी के बयान पर स्‍वास्‍थ्‍य सचिव ने कहा कि पर देश मे वैक्सीन कि कोई कमी नही है. किसी राज्य के मुख्यमंत्री क्या कहते हैं यहां हमारा विचार करना ठीक नही होगा. उन्‍होंने कहा कि विदेश में जो वैक्सीन जाती है वो इंटरनेशनल कमिटमेंट के नाते जाती हैं, जिसमे कई देश शामिल हैं. उन्‍होंने बताया कि राज्‍यों को अब तक 7 करोड़ 54 लाख वैक्सीन की डोज दी जा चुकी है. राजेश भूषण ने कहा कि एक्टिव केस अभी भी 2 फीसदी है और मोर्टलिटी रेट भी 2 फीसदी से कम है. सितम्बर में रोजाना 97 हजार नए केस आते थे उसके बाद घटकर 9 हजार औसतन हुई।फिर केस बढ़े है जो चिंता का विषय है.नीति आयोग के सदस्‍य वीके पॉल ने इस मौके पर कहा कि प्रधानमंत्री का मैसेज मिला है इस समय जो केस आ रहे हैं उसे सेकंड पीक कह सकते हैं.पॉल ने कहा कि कोविशील्ड वैक्सीनेशन को लेकर किसी तरह की चिंता की बात नही है और ये जारी रहेगी.