अमेरिकी विदेश मंत्री माइक पॉम्पियो ने ईरान सरकार पर खुलकर आरोप लगाए हैं कि वो जिहादी नेटवर्क अल-क़ायदा को अपनी ज़मीन पर नया ठिकाना बनाने दे रही है.
पॉम्पियो ने अमेरिका के नेशनल प्रेस क्लब में कहा, “अफ़ग़ानिस्तान से अलग, जहाँ अल-क़ायदा पहाड़ों में छिपा था, ईरान में अल-क़ायदा वहाँ के शासकों की पनाह में सक्रिय है.”
हालाँकि, अमेरिकी मंत्री ने अपने आरोपों के पक्ष में कोई ठोस सबूत नहीं दिए.
ईरान ने उनके बयान पर सख़्त आपत्ति जताई है. ईरानी विदेश मंत्री जवाद ज़रीफ़ ने इसे “युद्धोन्मादी झूठ” बताया है.पिछले साल नवंबर में ईरान ने अल-क़ायदा में दूसरे नंबर के नेता अब्दुल्ला अहमद अब्दुल्ला उर्फ़ अबू मोहम्मद अल-मसरी के बारे में इस रिपोर्ट का खंडन किया था कि अमेरिका के आग्रह पर इसराइली एजेंटों ने तेहरान में मसरी को मार डाला.
मंगलवार को अपनी प्रेस कॉन्फ़्रेंस में अमेरिकी विदेश मंत्री ने कहा कि वो पहली बार इस बात की पुष्टि कर सकते हैं कि मसरी की 7 अगस्त को मौत हो गई. हालाँकि, उन्होंने इस बारे में कोई ब्यौरा नहीं दिया.
उन्होंने इस बात पर ज़ोर देकर कहा कि लोगों का ये मानना ग़लत है कि एक शिया ताक़त ईरान और सुन्नी चरमपंथी गुट अल-क़ायदा एक-दूसरे के दुश्मन हैं.
पॉम्पियो ने कहा, “ईरान में मसरी की मौजूदगी वो वजह है जिससे हम यहाँ बात कर रहे हैं. अल-क़ायदा का अब एक नया ठिकाना है – वो है ईरान.”
“इसकी वजह से, ओसामा बिन लादेन के बनाए इस दुष्ट समूह की ताक़त बढ़ती जाएगी.”